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स्टेयरायड (steroid)

 स्टेरॉयड (Steroids) जैवतः सक्रिय (biologically active) कार्बनिक यौगिक हैं जिनमें चार रिंग एक विशेष आण्विक संरचना में विन्यस्त होते हैं। स्टेरॉइड के मुख्य दो जैव कार्य हैं- (१) ये कोशिका की झिल्लियों के महत्वपूर्ण घटक हैं जो झिल्ली की फ्लुइडिटी को बदलते हैं, (२) ये संकेत अणु की भांति कार्य करते हैं। पादपों, जन्तुओं, और कवकों में सैकड़ों स्टेरॉइड पाये जाते हैं। इन सभी स्टेरॉयडों का निर्माण कोशिका के अन्दर होता है।

 Coleston Namak steroid ki sanrachna 

कोलेस्टेन (cholestane) नामक स्टेरॉयड की संरचना ; इस स्टेरॉइड में २७ कार्बन परमाणु हैं। इसके कोर रिंग सिस्टम (ABCD) में १७ कार्बन परमाणु हैं। इस चित्र में IUPAC-द्वारा अनुमोदित रिंग लेटरिंग और परमाणु-संख्यांकन का उपयोग किया गया है।

आजकल 'स्टेरॉयड' शब्द आमतौर पर दवाओं की एक श्रेणी के रूप में किया जाता है जिनका प्रयोग कई बीमारियों में इलाज के लिए किया जाता है। स्टेरॉयड दवाएं मानव-निर्मित होती हैं और प्राकृतिक स्टेरॉयडों का कृत्रिम रूप होती हैं। स्टेरॉयड दवाएं कई अलग-अलग चिकित्सीय स्थितियों के लिए उपयोग की जाती हैं। रोगों के इलाज के लिए उपयोग की जाने वाली स्टेरॉयड दवाओं के प्रकार को 'कॉर्टिकोस्टेरॉइड्स' कहा जाता है।

स्टेरॉयड का उपयोग पुरुषों में यौन हार्मोन बढ़ाने, प्रजनन क्षमता बढ़ाने, चयापचय (मेटबॉलिज्म) और रोग-प्रतिरोधक क्षमता (इम्यूनिटी) को दुरुस्त करने के अलावा मांसपेशियों और हड्डियों का धनत्व बढ़ाने के साथ-साथ दर्द या अन्य दवाइयों के रूप में प्रयोग करते हैं।

स्टेरॉयड दवाएं कई अलग-अलग रूपों में ली जा सकती हैं, जो निम्नलिखित हैं -

  • गोलियां, सिरप और तरल पदार्थ के रूप में, जैसे कि प्रेडनिसोलोन।
  • इनहेलर्स और नाक में डालने वाले स्प्रे के रूप में, जैसे कि बीक्लोमेटासोन और फ्लुटाइकसोन।
  • इंजेक्शन (जोड़ों, मांसपेशियों या रक्त वाहिकाओं में दिए जाते हैं), जैसे कि मेथाईलप्रेडनिसोलोन।
  • क्रीम, लोशन और जैल के रूप में जैसे कि हाइड्रोकोर्टिसोन।

अधिकांश स्टेरॉयड केवल डॉक्टर के द्वारा प्रिस्क्रिप्शन पर ही उपलब्ध होते हैं, लेकिन कुछ, जैसे कुछ क्रीम या नाक के स्प्रे मेडिकल स्टोर और कॉस्मेटिक दुकानों से खरीदे जा सकते हैं। एनाबॉलिक स्टेरॉयड के लिए कुछ स्लैंग शब्दों का प्रयोग किया जाता है जैसे कि 'रोइड्स', 'गियर' और 'जूस' इत्यादि।

स्टेरॉयड से होने वाली हानियाँ
  • स्टेरॉयड का सेवन करने वाले लोगों का हृदय इसका सेवन न करने वालों को तुलना में कमजोर होता है। कमजोर हृदय शरीर लिए जरूरी पर्याप्त रक्त पंप नहीं कर सकता है और इस स्थिति में दिल काम करना बंद कर सकता है, जो मौत का कारण बनता है।
  • एनाबोलिक स्टेरॉयड का लम्बे समय तक सेवन करने से कोरोनरी धमनी के रोग होने की संभावना बढ़ जाती है। आमतौर पर स्टेरॉयड का सेवन करने वालों का दिल धमनी के साथ ठीक से तालमेल नहीं बैठा पाता और क्षमता कम होने के साथ दिल कम लचीला हो जाता है।
  • स्टेरॉयड का सेवन न करने वालों की धमनियों में प्लेक (गंदगी या मैल) बढ़ जाता है। प्लेक का बढ़ना हृदय रोगों का एक प्रमुख कारक है। थोड़े समय के लिए भी स्टेरॉयड लेना दिल को स्थायी रूप से नुकसान पहुंचा सकता है।
  • कोई व्यक्ति जितना अधिक स्टेरॉयड का सेवन करता है, उसके दिल को उतना अधिक नुकसान होता है।
  • स्टेरॉयड किडनी फेल होने, लीवर की क्षति, टेस्टिकल्स के सिकुड़ने के लिए भी जिम्मेदार है। स्टेरॉयड के साइड इफेक्ट्स इसके सेवन को बंद करने के बाद भी कई वर्षों तक रह सकते हैं।

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